जयपुर ब्यूरो रिपोर्ट।
राजस्थान सरकार की असंवेदनशीलता ने अपैक्स पैरामेडिकल कॉलेज, मानसरोवर, जयपुर के (बेचलर इन रेडीएशन) डिग्री कोर्स के छात्रो का भविष्य अंधकारमय बना दिया है।विदित हो 2018 में राजस्थान सरकार ने गजट पास किया था जिसमे सरकार ने प्राइवेट यूनिवर्सिटी एवं कॉलेज को बेचलर पैरामेडिकल कोर्सेज चलाने की अनुमति दी थी। इसके पश्चात् अपैक्स यूनिवर्सिटी ने 2018 में UGC दिल्ली से पैरामेडिकल कोर्स चलाने की मान्यता ले ली थी। बता दे, कि किसी भी मान्यता प्राप्त कोर्स को चालू करने के लिए सभी गवर्नमेंट और प्राइवेट यूनिवर्सिटी को लष्ट से मान्यता देनी पड़ती है। तत्पश्चात पहला बैच 2019 से 2022 का तीन साल का था जो की इस साल कम्पलीट हो गया है।राजस्थान सरकार ने हाल में ही 2 दिसंबर 2022 को पैरामेडिकल की वेकन्सी की विज्ञप्ति जारी की है। जिसमे RADIATION TECHNOLOGY में डिप्लोमा / डिग्री के साथ साथ राजस्थान पैरामेडिकल काउंसलिंग, जयपुर में रजिस्ट्रेशन होना जरूरी है। लेकिन RPMC वाले इसको लेकर रजिस्ट्रेशन नहीं दे रहे हैं। उनका कहना है कि सचिवालय, जयपुर में ग्रुप 3 में IAS पृथ्वीसिंह से मिलो। इसको लेकर पीड़ित छात्रों का प्रतिनिधिमंडल ने सचिवालय में ग्रुप 3 में IAS से मुलाकात कर अपने भविष्य को लेकर चिंता से अवगत करवाया।प्रतिनिधिमंडल को उन्होंने आश्वासन दिया कि सारे डाक्यूमेंट्स लीगल है।लेकिन जब तक मंत्री अप्रूवल नहीं करते तब तक कुछ नहीं होगा। सरकार केवल राजस्थान यूनिवर्सिटी ऑफ हेल्थ साइंस, जयपुर के नीचे आने वाली कॉलेज एवं डिप्लोमा वालो को रजिस्ट्रेशन दे रही है। लेकिन 2018 में सरकार ने खुद ने इसकी अनुमति दी थी कि प्राइवेट यूनिवर्सिटी कोर्स चला सकती है। इसके बावजूद भी बच्चों के भविष्य के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है। अगर सरकार इनकी बातो पर ध्यान नहीं देती है तो बच्चों के 3 साल बर्बाद हो जाएंगे और गवर्नमेंट जॉब नहीं कर पाएंगे। पीडित बच्चों ने बताया कि राजस्थान सरकार में मंत्री परसादी लाल मीणा के पास 2019 से फाइल है लेकिन सब कुछ लीगल होने के बाद मंत्री जी ध्यान नहीं दे रहे है।
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